पेयजल समस्या की शिकायत मिलने पर अधिकारियों पर गिरेगी गाज : सीएम ने दी सख्त हिदायत, जिस जिले से शिकायत मिली वहां कार्रवाई निश्चित

Bhopal News : भोपाल । प्रदेश के जिस भी जिले से नागरिकों के लिए पेयजल की व्यवस्था से जुड़ी शिकायतें प्राप्त होंगी वहां संबंधित अधिकारियों के विरुद्ध सख्त कदम उठाए जाएंगे। मुख्यमंत्री डा. मोहन यादव ने सभी जिलों में नल-जल योजना के क्रियान्वयन में विलंब करने वालों के विरुद्ध सख्त एक्शन लेने के निर्देश दिए।

पेयजल समस्या से संबंधित एक प्रकरण में सीहोर जिले के भंवर सिंह पटेल ने ग्राम पंचायत बरखेड़ी में पानी न पहुंच पाने की शिकायत की थी। इस प्रकरण में अपर मुख्य सचिव संजय शुक्ला ने बताया कि ठेकेदार फर्म मेसर्स विश्वा पर 37 हजार 469 की शास्ति अधिरोपित की गई है। नल जल योजना के क्रियांवयन में आ रही तकनीकी दिक्कतों को दूर कर घरेलू नल कनेक्शनों में जलापूर्ति प्रारंभ करवा दी गई है।

इसी तरह मऊगंज के शिकायतकर्ता सुनील कुमार साहू की शिकायत पर डेढ़ वर्ष से पाइप लाइन के टूट जाने से जल प्रदाय में आ रही दिक्कत को दूर कर दिया गया है। इस मामले में भी संबंधित ठेकेदार केएनके कंपनी को तत्काल कार्य करवाने के निर्देश दिए गए। इस प्रकरण में परियोजना इकाई में पदस्थ फील्ड इंजीनियर की सेवाएं समाप्त की गई है। शिकायत का निराकरण समय पर न करने के लिए उत्तरदायी मुख्य नगर पालिका अधिकारी मप्र अर्बन डेवलपमेंट कार्पोरेशन के उपयंत्री, परियोजना प्रबंधक और सहायक परियोजना प्रबंधक को नोटिस जारी किए गए हैं।

मुख्यमंत्री ने छिंदवाड़ा जिले की दुर्गाबाई विश्वकर्मा द्वारा कूप निर्माण के लिए समय पर कार्रवाई न करने के मामले में जनपद के मुख्य कार्यपालन अधिकारी और सहायक यंत्री की दो-दो वेतनवृद्धि रोकने संबंधी कारण बताओ नोटिस जारी किए गया है।

साथ ही गंभीर लापरवाही के दोषी ग्राम रोजगार सहायक को सेवा समाप्ति के लिए नोटिस जारी किया गया। इस प्रकरण में सचिव ग्राम पंचायत को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है। शिकायतकर्ता को कूप निर्माण के लिए 72 हजार 372 रूपए का भुगतान करवा दिया गया है।

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दतिया के आवेदक की शिकायत का हुआ समाधान : दतिया जिले के शिकायतकर्ता रोहित ने आवेदक बुद्ध सिंह द्वारा भारतीय स्टेट बैंक दतिया शाखा के बंधक मुक्ति प्रमाण-पत्र जारी करने की शिकायत की गई। आवेदक ने केसीसी के सभी भुगतान कर दिए थे, लेकिन बैंक प्रबंधन द्वारा तहसील में बंधक मुक्ति का पत्र नहीं भेजा गया। इस प्रकरण में आवेदक ने ऋण नहीं लिया था। लेकिन उसकी संपत्ति बंधक बना दी गई थी।

इस शिकायत का समाधान गत 21 मार्च को कर दिया गया है। इस मामले में मुख्यमंत्री डा.यादव ने कहाकि निर्धन वर्ग के व्यक्तियों को इस तरह से परेशान होना पड़े, यह अनुचित ही नहीं अपराध भी है। इस तरह के प्रकरणों में दोषी व्यक्तियों को बख्शा नहीं जाएगा।

मुख्यमंत्री ने समाधान आनलाइन में आई शिकायतों के संदर्भ में यह भी निर्देश दिए कि इस स्वरूप की शिकायतें जिन भी जिलों में लंबित हैं, उनमें तत्काल संबंधित अधिकारी समाधान की कार्रवाई करवाएं।

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