एशियाई बीज कांग्रेस 2025 मुंबई में शुरू: शिवराज सिंह चौहान ने गुणवत्ता सुधार, कीमत नियंत्रण और नए कानून की रूपरेखा पर किया संबोधन

मुंबई/नई दिल्ली। केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण तथा ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने सोमवार को मुंबई में एशियाई बीज कांग्रेस 2025 का उद्घाटन किया। इस वर्ष के सम्मेलन का मुख्य विषय “गुणवत्तापूर्ण बीजों द्वारा समृद्धि के बीज बोना” है। उद्घाटन अवसर पर सम्मेलन का आधिकारिक प्रतीक चिन्ह (लोगो) भी जारी किया गया।

एशियाई बीज कांग्रेस 17 से 21 नवंबर तक चलेगी, जिसमें एशिया और प्रशांत क्षेत्र के बीज उत्पादक, वैज्ञानिक, विशेषज्ञ और संस्थान भाग ले रहे हैं।


बीजों की कीमतें कम करने और गुणवत्ता सुनिश्चित करने पर जोर : अपने संबोधन में चौहान ने कहा कि सरकार का उद्देश्य खाद्य सुरक्षा और किसानों के लिए कृषि को अधिक लाभकारी बनाना है। उन्होंने निजी बीज कंपनियों से कहा कि वे सरकार के साथ मिलकर काम करें और बीजों की कीमतें कम करने में सहयोग करें। उन्होंने कहा कि महंगे बीज छोटे और वंचित किसानों की पहुंच से बाहर हैं, इसलिए कीमत नियंत्रण आवश्यक है।

कृषि मंत्री ने चेताया कि खराब गुणवत्ता या कम अंकुरण क्षमता वाले बीज बेचने वालों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी, साथ ही ऐसी शिकायतों के समाधान को प्राथमिकता दी जाएगी।


बीज और कीटनाशकों से जुड़े नए कानून पर विचार : चौहान ने यह भी बताया कि सरकार आगामी बजट सत्र में बीज और कीटनाशकों से संबंधित नया कानून लाने पर विचार कर रही है, जिससे गुणवत्ता नियंत्रण और बाजार व्यवस्था को और मजबूत किया जा सके।


SATHI पोर्टल से जुड़े लाभ उठाने का आग्रह : कृषि मंत्री ने सभी हितधारकों से केंद्रीय कृषि मंत्रालय के ‘एसएटीएचआई – साथी’ पोर्टल का उपयोग करने का आग्रह किया। यह पोर्टल किसानों, कंपनियों और संस्थानों को बीज उत्पादन, परीक्षण, अनुसंधान और प्रमाणन जैसी सुविधाओं को एक ही मंच पर उपलब्ध कराता है।


जलवायु-अनुकूल और जैव-फोर्टिफाइड किस्मों पर जोर : चौहान ने कहा कि भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद (ICAR) और सरकारी संस्थान जलवायु परिवर्तन की चुनौतियों को ध्यान में रखते हुए जैव-फोर्टिफाइड और जलवायु-अनुकूल फसल किस्में विकसित करने में जुटे हैं।

उन्होंने बताया कि जीनोम एडिटिंग तकनीक से विकसित चावल की दो नई किस्में सिंचाई में कम पानी मांगती हैं, उत्पादकता 19–40% तक बढ़ाती हैं और कार्बन उत्सर्जन में कमी लाती हैं।


मोटे अनाज और नई किस्मों के परीक्षण में तेजी पर बल : बीज कंपनियों के साथ बातचीत में कृषि मंत्री ने मोटे अनाज के क्षेत्र में अनुसंधान बढ़ाने, नई किस्मों के परीक्षण की प्रक्रिया तेज करने और परीक्षण लागत कम करने पर सहमति जताई। उन्होंने अवैध बीज कारोबार और खराब गुणवत्तापूर्ण बीजों को लेकर निजी कंपनियों को सख्त चेतावनी भी दी।

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