नई दिल्ली : फ्रांस की कंपनी साफ्रान समूह के एक उच्च स्तरीय प्रतिनिधिमंडल ने इसके सीईओ ओलिवियर एंड्रीज के नेतृत्व में नई दिल्ली में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह से मुलाकात की। साफ्रान समूह नागरिक एवं लड़ाकू विमानों के लिए उन्नत विमान इंजन के प्रमुख मूल उपकरण निर्माताओं में से एक है।
इस बैठक के दौरान साफ्रान के सीईओ ने रक्षा मंत्री को भारतीय और विदेशी वाणिज्यिक एयरलाइनों द्वारा उपयोग किए जाने वाले LEAP-1A और LEAP-1B इंजनों के ओवरहाल के लिए भारत में रखरखाव, मरम्मत और ओवरहाल (एमआरओ) सुविधा स्थापित करने की अपनी कंपनी की योजनाओं के बारे में जानकारी दी। ‘
हैदराबाद में 150 मिलियन अमेरिकी डॉलर के प्रत्यक्ष विदेशी निवेश के माध्यम से एमआरओ सुविधा स्थापित होने से 500 – 600 अत्यधिक कुशल रोजगार सृजित होने की उम्मीद है। यह सुविधा शुरुआत में प्रति वर्ष 250 से अधिक इंजनों को ओवरहाल करने में सक्षम होगी ।
सीईओ ने श्री राजनाथ सिंह को इस सप्ताह साफ्रान एयरक्राफ्ट इंजन और साफ्रान इलेक्ट्रिकल एंड पावर इंडिया प्राइवेट लिमिटेड दोनों को हैदराबाद में और साफ्रान-एचएएल एयरक्राफ्ट इंजन को बेंगलुरु में एक संयुक्त उद्यम के रूप में खोलने की अपनी योजना के बारे में बताया।
36 मिलियन यूरो के निवेश के साथ और हैदराबाद एसईजेड में 10 एकड़ भूमि पर स्थित साफ्रान एयरक्राफ्ट इंजन, हैदराबाद रोटेटिंग सील सहित उन्नत विमान इंजन के लिए पुर्ज़ों व घटकों का उत्पादन करेगा।
साफ्रान इलेक्ट्रिकल एंड पावर इंडिया प्राइवेट लिमिटेड सिविल और फाइटर जेट्स के लिए बाहरी कवर का निर्माण करेगा। साफ्रान और एचएएल के बीच संयुक्त उद्यम हेलीकॉप्टर इंजन समेत विमान के इंजन के लिए कठोर पाइपिंग के उत्पादन के लिए है। इस संयुक्त उद्यम द्वारा 160 नए अत्यधिक कुशल कर्मियों को नियुक्त करने की उम्मीद है ।
साफ्रान के सीईओ ने भारत सरकार की मौजूदा नीति के अनुसार उन्नत जेट इंजनों के सह-विकास और सह-उत्पादन और प्रौद्योगिकी हस्तांतरण में अपनी कंपनी की दीर्घकालिक योजना को पेश किया । उन्होंने श्री राजनाथ सिंह को विमान के इंजन से परे प्रौद्योगिकी के क्षेत्रों में कंपनी की क्षमताओं के बारे में जानकारी दी ।
रक्षा मंत्री ने इस बात को व्यक्त किया कि भारत फ्रांस के साथ सामरिक साझेदारी को बहुत महत्व देता है। उन्होंने हैदराबाद में नई सुविधाओं और बेंगलुरु में संयुक्त उद्यम का स्वागत किया। उन्होंने भारत सरकार के ‘मेक इन इंडिया, मेक फॉर द वर्ल्ड’ और ‘आत्मनिर्भर भारत’ के अनुरूप भारत में अधिक सह-विकास और सह-उत्पादन परियोजनाओं के लिए साफ्रान को आमंत्रित किया। श्री राजनाथ सिंह ने कहा कि “हम एक बड़ा बाजार हैं।
हालांकि, हम प्रतिस्पर्धी तरीके से जरूरतों को पूरा करने और मित्र देशों को आपूर्ति करने के लिए मेक इन इंडिया पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं। आप लागत संबंधी लाभ और प्रशिक्षित जनशक्ति की उपलब्धता समेत भारत द्वारा प्रदान किए जाने वाले सभी प्रतिस्पर्धी लाभों का फायदा उठा सकते हैं।” रक्षा मंत्री ने जोर देकर कहा कि दोनों देश एक-दूसरे की क्षमता के निर्माण में योगदान दे सकते हैं।