इंदरगढ़ में थाने के सामने शव रखकर परिजनों ने लगाया जाम, हत्या के मामले में गवाह था मृतक अवधेश

दतिया। सोमवार शाम इंदरगढ़ थाने में सामने सड़क दुर्घटना में मृत युवक के स्वजनों ने बीच रास्ते में शव रखकर जाम लगा दिया। मृतक के स्वजन मांग कर रहे थे कि जिस काले रंग की बुलेरो की टक्कर से युवक की मौत हुई है, उसके विरुद्ध पुलिस मामला दर्ज करे। दतिया-इंदरगढ़ मार्ग पर शाम 5 बजे के करीब लगे जाम के कारण दोनों तरफ वाहनों की कतार लग गई। वहीं पुलिस की समझाइश के बाद भी लोग जाम खोलने को तैयार नहीं हुए।

इस बारे में मृतक के भाई कल्लू तिवारी ने बताया कि उसके छोटे भाई अवधेश तिवारी पुत्र उत्तम तिवारी निवासी ऊंचिया की बाइक में गत 3 फरवरी की रात गांव के पास एक काले रंग की बुलेरो ने टक्कर मार दी थी। जब इस हादसे की सूचना स्वजनों को मिली तो वह मौके पर पहुंचे। जहां अवधेश गंभीर रुप से घायल मिला और उसकी बाइक पास डली थी। आनन फानन में युवक को स्वजन उपचार के लिए ग्वालियर लेकर दौड़े। जहां इलाज के दौरान सोमवार सुबह उसकी मौत हो गई। इस संबंध में ग्वालियर बहोड़ापुर थाना पुलिस ने शून्य पर कायमी कर मृतक का शव स्वजनों को सौंपा दिया था।

जिसके बाद मृतक स्वजन शव लेकर इंदरगढ़ थाने पहुंचे और काले रंग की बुलेरो पर कार्रवाई की पुलिस से मांग करने लगे। जब पुलिस ने बहोड़ापुर थाने से केस डायरी मिलने पर कायमी की बात कही, तो वह आक्रोश में आ गए और शव थाने के सामने रखकर दतिया-ग्वालियर रोड पर जाम लगा दिया। स्वजनों की मांग थी कि जब तक पुलिस एफआईआर नहीं करती तब तक वह जाम नहीं खोलेंगे। जाम काफी देर लगा रहने से आवागमन अवरुद्ध हो गया। जाम की सूचना पर मौके पर पहुंचे तहसीलदार सुनील भदौरिया, एसडीओपी सुमित अग्रवाल ने जाम खुलवाने का प्रयास किया।

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मृतक हत्या के मामले था गवाह

इस घटना के संबंध में मृतक के भाई कल्लू ने बताया कि कुछ वर्ष पूर्व उसके एक और छोटे भाई की हत्या गांव के कुछ लोगों ने कर दी थी। इस मामले में उसका दूसरा भाई मृतक अवधेश गवाह था। जिसे रंजिश के चलते बुलेरो से टक्कर मारी गई। जिसमें उसकी जान चली गई। कल्लू ने पुलिस को इस घटना के संबंध में कुछ लोगों के नाम भी बताए हैं।

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