शहडोल/ भोपाल : राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु 15-16 नवंबर को मध्यप्रदेश प्रवास पर रहेंगी। वे 15 नवंबर को शहडोल के लालपुर में जनजातीय गौरव दिवस के राज्य-स्तरीय कार्यक्रम में शामिल होंगी और इसी दिन शाम को भोपाल से दो परियोजनाओं का वर्चुअल शिलान्यास करेंगी। राष्ट्रपति मुर्मु 16 नवंबर को मोतीलाल नेहरू स्टेडियम भोपाल में महिला स्व-सहायता समूह सम्मेलन में सम्मिलित होंगी।
निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार राष्ट्रपति मुर्मु 15 नवंबर को प्रात: 11:30 बजे जबलपुर आयेंगी और वहाँ से दोपहर 12.25 पर शहडोल पहुँचेंगी। दोपहर 1:45 बजे लालपुर (शहडोल) में जनजातीय गौरव दिवस में शामिल होंगी। राष्ट्रपति दोपहर 3 बजे शहडोल से प्रस्थान कर अपरान्ह 3:55 जबलपुर और वहाँ से सायं 5:25 बजे भोपाल पहुँचेंगी।

राष्ट्रपति मुर्मु सायं 6:30 बजे राजभवन, भोपाल से सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय की रातापानी, औबेदुल्लागंज-इटारसी फोरलेन परियोजना (एनएच-46) और रक्षा मंत्रालय की ग्वालियर स्थित रक्षा अनुसंधान एवं विकास संस्थान में मेक्सिमम माइक्रोवाइल कंटेनमेंट लेबोरेट्ररी (बीएसएल 4) का वर्चुअली शिलान्यास करेंगी।

राष्ट्रपति मुर्मु 16 नवंबर को प्रात : 11:30 बजे मोतीलाल नेहरू स्टेडियम में महिला स्व-सहायता समूह सम्मेलन में भाग लेंगी। राष्ट्रपति दोपहर 12:55 बजे भोपाल से वायुयान द्वारा दिल्ली के लिये प्रस्थान करेंगी।
जनजातीय गौरव दिवस : राष्ट्रपति मुर्मु भगवान बिरसा मुंडा जयंती पर लालपुर, शहडोल में जनजातीय गौरव दिवस के राज्य स्तरीय कार्यक्रम में शामिल होंगी। राष्ट्रपति द्वारा इस दौरान मध्यप्रदेश में पेसा एक्ट को आधिकारिक तौर पर लागू भी किया जायेगा। राज्यपाल मंगुभाई पटेल, मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, केन्द्रीय जनजातीय कार्य मंत्री अर्जुन मुंडा,
केन्द्रीय इस्पात एवं ग्रामीण विकास राज्य मंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते, प्रदेश की जनजातीय कार्य एवं अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री मीना सिंह मांडवे, वन मंत्री कुं. विजय शाह, खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री बिसाहूलाल सिंह और पशुपालन एवं सामाजिक न्याय मंत्री प्रेमसिंह पटेल उपस्थित रहेंगे।
रातापानी औबेदुल्लागंज-इटारसी राजमार्ग का फोरलेन में उन्नयन : राष्ट्रपति द्वारा वर्चुअल शिलान्यास की जाने वाली यह परियोजना भारतमाला परियोजना में एनएच-46 (पुराना एनएच-69) औबेदुल्लागंज से बैतूल इंटर कोरिडोर मार्ग का एक हिस्सा ही है, जो भोपाल से नागपुर को कनेक्टिविटी देता है।
इस मार्ग का 12.38 किमी. का खण्ड रातापानी वन्य-जीव अभयारण्य में आता है एवं रातापानी खण्ड भोपाल-नागपुर कॉरिडोर का अधूरा भाग है। परियोजना में वन्य-जीव और पर्यावरण की सुरक्षा के लिये आवश्यक सभी शमन उपाय शामिल हैं। वन्य-जीव अभयारण्य क्षेत्र में पशु अंडरपास के प्रावधानों से वन्य-प्रणियों को आवागमन में आसान होगी।
परियोजना की कुल लंबाई 12.38 किमी. है। इसके निर्माण पर 417 करोड़ 51 लाख रूपये की लागत आयेगी। परियोजना का निर्माण कार्य 18 माह की अवधि में पूर्ण किया जायेगा। इस मार्ग को चौड़ा करने से वन्य-प्राणियों के आवागमन/आवास पर पड़ने वाले प्रभाव को कम करने के लिए 5 बड़े पशु अंडरपास (100मी., 420मी., 1226मी., 65मी. एवं 65मी.) एवं 2 छोटे पशु अंडरपास (10मी. एवं 10मी.) अधो-संरचनाएँ बनाई जायेंगी। परियोजना में एक माइनर ब्रिज एवं 2 व्हीकल अंडरपास का निर्माण भी किया जाना है।
परियोजना के लाभ
● भोपाल, होशंगाबाद, बैतूल और नागपुर की बेहतर कनेक्टिविटी।
● भारी यातायात से सड़क उपयोगकर्ता को सुविधा।
● रातापानी वन्य-जीव अभयारण्य और सतपुड़ा टाइगर रिजर्व तक बेहतर आवागमन से पर्यटन क्षेत्र को बढावा और रोजगार के अवसरों में वृद्धि।
● समय और ईंधन की बचत के साथ प्रदूषण में कमी।
● सड़क उपयोगकर्ता की सुरक्षा में सुधार।
● क्षेत्र के लोगों की सामाजिक और आर्थिक समृद्धि।
गृह मंत्री डॉ. मिश्रा भोपाल विमानतल पर करेंगे स्वागत : राष्ट्रपति को मध्यप्रदेश के भोपाल, जबलपुर और शहडोल आगमन पर अगवानी, विदाई और सत्कार के लिए राज्य मंत्रि-परिषद के 3 सदस्य मिनिस्टर-इन-वेटिंग नामांकित किये गये हैं।
गृह मंत्री डॉ. नरोत्तम मिश्रा 15 एवं 16 नवंबर को भोपाल विमानतल, परिवहन मंत्री गोविन्द सिंह राजपूत 15 नवंबर को जबलपुर विमानतल और पिछड़ा-वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री रामखेलावन पटेल शहडोल हेलीपेड पर मिनिस्टर-इन-वेटिंग रहेंगे।
ऐतिहासिक और अद्भुत क्षण है पेसा कानून का प्रभावशील होना : मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि मध्यप्रदेश में जनजातीय संस्कृति के संरक्षण और जनजातीय वर्ग के हित संरक्षण की दृष्टि से महत्वपूर्ण कदम उठाया गया है। प्रदेश के लिए 15 नवम्बर ऐतिहासिक और अद्भुत रहेगा। प्रदेश में जनजातीय वर्ग के कल्याण के लिए उल्लेखनीय कार्य हो रहा है।
गत वर्ष प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जनजातीय गौरव दिवस के अवसर पर भोपाल पधारे थे। मध्यप्रदेश सरकार ने पेसा कानून नियम लागू करने की पहल की है। इसके माध्यम से राजस्व कार्यों के निपटारे,जल संसाधनों के प्रबंधन, वनोपज से जनजातीय वर्ग को अधिक लाभ पहुँचाने जैसे महत्वपूर्ण कार्य आसान होंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि भगवान बिरसा मुंडा जी की जयंती मध्यप्रदेश के लिए गौरव का दिन है। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु मध्यप्रदेश के प्रवास पर आ रही हैं। राष्ट्रपति महोदया के शहडोल और भोपाल में हो रहे कार्यक्रमों से जनजातीय वर्ग और प्रदेश के समस्त नागरिकों में उमंग का संचार होगा। प्रदेश का जन-जन उत्साहित दिखाई दे रहा है।
मुख्यमंत्री ने इन कार्यक्रमों की रूपरेखा के संबंध में वरिष्ठ अधिकारियों से चर्चा की। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कार्यक्रमों की तैयारियों की भी जानकारी प्राप्त की।