Datia News, दतिया। न्यू कलेक्ट्रेट की मंगलवार की जनसुनवाई अचानक हंगामेदार हो गई, जब एक महिला ने खुद पर पेट्रोल छिड़ककर आत्मदाह करने का प्रयास किया।
वहां मौजूद महिला पुलिसकर्मियों और कर्मचारियों ने तुरंत सूझबूझ दिखाते हुए उसे रोक लिया। कुछ समय तक माहौल तनावपूर्ण बना रहा, लेकिन कलेक्टर स्वप्निल वानखडे ने स्थिति संभाल ली।
कलेक्टर ने महिला को पानी पिलाकर शांत कराया और सख्ती से कहा कि लगातार चिल्लाने से समस्या का समाधान नहीं होगा। उन्होंने समझाया कि अगर वह अपनी बात आवेदन के माध्यम से रखेगी तो निराकरण संभव है। इसके बाद महिला ने रोते-रोते अपना पक्ष रखा।
मिथला पत्नी लक्ष्मीनारायण ने बताया कि विवाद विजय काली माता मंदिर की सेवा से जुड़ा है। उसके मुताबिक, मंदिर की चढ़ोत्तरी में उसका 25 प्रतिशत हिस्सा वर्षों से तय है, लेकिन भज्जु माली और उसके साथी उसका हक नहीं दे रहे।
महिला का कहना है कि यह सेवा दतिया राजघराने द्वारा दी गई थी, मगर अब उसे और उसकी बेटी को जबरन मंदिर कार्यों से दूर कर दिया गया है।
उसका आरोप है कि हाल ही में उसके साथ मारपीट भी की गई, लेकिन शिकायत दर्ज नहीं की गई। कई बार फरियाद करने के बावजूद कार्रवाई न होने से निराश होकर उसने आत्मदाह जैसा कदम उठाया।
कलेक्टर ने मामले की जांच एसडीएम संतोष तिवारी को सौंपी है और महिला को भरोसा दिलाया कि उसे न्याय मिलेगा।
जनसुनवाई बनी तनाव का केंद्र : जनसुनवाई की शुरुआत सामान्य ढंग से हुई थी, लेकिन अचानक महिला द्वारा पेट्रोल छिड़कने की हरकत ने माहौल को हंगामेदार बना दिया।
जैसे ही उसने बोतल से पेट्रोल बाहर निकाला, उपस्थित महिला पुलिसकर्मियों और कर्मचारियों ने तेजी दिखाते हुए उसे पकड़ लिया और स्थिति बिगड़ने से रोक दी।
घटना से कुछ देर के लिए अफरा-तफरी का माहौल रहा, मगर कलेक्टर की सख्त और समझाइश भरी प्रतिक्रिया ने हालात को काबू में कर लिया।
मंदिर सेवा से जुड़ा विवाद : महिला की आपबीती पूरी तरह विजय काली माता मंदिर से जुड़ी है। उसका कहना है कि दतिया राजघराने द्वारा दी गई मंदिर सेवा में उसे चढ़ोत्तरी का 25% हिस्सा मिलना तय है। लेकिन लंबे समय से कुछ लोगों द्वारा उसके अधिकार को छीना जा रहा है।
इतना ही नहीं, हाल ही में उसके साथ मारपीट भी हुई और पुलिस ने एफआईआर दर्ज नहीं की। लगातार अनसुनी होने से महिला मानसिक रूप से परेशान हो गई और आखिरकार जनसुनवाई में आत्मदाह की कोशिश कर बैठी।