चंडीगढ़ : पंजाब में कोरोना टीके का संकट खड़ा हो गया है। लगभग सभी जिलों में करीब 70 फीसद टीकाकरण केंद्र बंद कर दिए गए। लुधियाना जैसे जिले जहां पर सर्वाधिक करीब डेढ़ हजार मरीज रोजाना सामने आ रहे हैं वहां पर भी 23 केंद्र बंद कर दिए गए। वैक्सीन की कमी के कारण शुक्रवार को 13,869 लोगों को ही टीका लगाया जा सका। राज्य में अब 45 वर्ष से ऊपर के लोगों के लिए मात्र 23,273 डोज बची है।
स्वास्थ्य विभाग के पास इस सवाल का भी जवाब नहीं है कि 45 वर्ष से ऊपर के लिए वैक्सीन की अगली खेप कब आनी है। स्वास्थ्य विभाग के सचिव व वैक्सीनेशन के इंचार्ज संजय कुमार का कहना है कि केंद्र सरकार ने 14 मई को नई नीति के बारे में बताने के लिए कहा था। केंद्र से जानकारी मिलने के बाद ही कुछ कहा जा सकता है। उन्होंने कहा कि शुक्रवार को कुछ केंद्रों पर 45 वर्ष से अधिक के लोगों को टीके लगे हैं। 18 से 44 वर्ष के लोगों को टीके लग रहे हैं। इस आयु वर्ग के लिए 1.10 लाख डोज शनिवार को और राज्य को मिल जाएगी। शुक्रवार को लुधियाना में मात्र 376 लोगों को टीका लगाया गया। बठिंडा में तो 84 में से 76 सेंटरों को बंद कर दिया गया। इसी प्रकार जालंधर में 216 सेंटरों में से 19 सेंटरों पर ही वैक्सीन लगाई गई। राज्य में सबसे अधिक संक्रमण दर वाले एसएएस नगर (मोहाली) में सबसे अधिक दो हजार लोगों को वैक्सीन लगाई गई। मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह के गृह नगर पटियाला में मात्र 69 लोगों को टीका लगाया जा सका।

स्वास्थ्य विभाग के प्रिंसिपल सेक्रेटरी हुसन लाल का कहना है कि 45 साल से अधिक उम्र वर्ग के लिए कोविशील्ड वैक्सीन की 1,63,710 डोज की आखिरी खेप नौ मई को पहुंची थी। राज्य को अभी तक कोविशील्ड की कुल 42,48,560 डोज मिली है जिसमें से 3,45,000 डोज रक्षा सेनाओं को दी गई है। 45 साल से अधिक उम्र वर्ग के लिए कोवैक्सीन की 75,000 डोज की आखिरी खेप छह मई को पहुंची थी। कोवैक्सीन की अब तक कुल 4.09 लाख डोज मिली है। इसमें से 3.52 लाख डोज का प्रयोग किया जा चुका है। कोविशील्ड की डोज राज्य में न के बराबर बची है। राज्य में 41.75 लाख लोगों को वैक्सीन लग चुकी है। इसमें से 34.71 लाख को पहली और 7.01 लाख को दूसरी डोज लगाई जा चुकी है।